सुशांत सिंह राजपूत केस : एनसीबी ने रिया चक्रवर्ती पर लगाए संगीन गंभीर आरोप, हो सकती है 10 साल से ज्यादा की जेल
मुंबई, 13 जुलाई (ऐजेंसी/सक्षम भारत)। सुशांत सिंह राजपूत की मौत से जुड़े ड्रग्स केस में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) ने अपनी चार्जशीट फाइल कर दी है। इसमें सुशांत की गर्लफ्रेंड रहीं रिया चक्रवर्ती और उनके भाई शौविक चक्रवर्ती समेत 35 लोगों को आरोपी बनाया है। इस हाई प्रोफाइल ड्रग्स केस में रिया चक्रवर्ती पर इतने गंभीर आरोप लगे हैं कि अगर वे साबित हो गए तो उन्हें 10 साल से ज्यादा की जेल हो सकती है।
ड्राफ्ट में रिया चक्रवर्ती को लेकर कहा गया है कि उन्होंने सैमुअल मिरांडा, शौविक चक्रवर्ती और दीपेश सावंत समेत अन्य आरोपियों से कई बार गांजा लिया था और वह दिवंगत सुशांत सिंह राजपूत को दिया था। यह दावा भी किया गया है कि रिया ने सुशांत और शौविक के कहने पर मार्च 2020 से सितम्बर 2020 तक उन डिलीवरीज का भुगतान भी किया था। ड्राफ्ट के मुताबिक़ शौविक चक्रवर्ती लगातार ड्रग पैडलर के संपर्क में था और उसे अपने सह-आरोपियों से कई डिलीवरी मिली थीं। ये सभी डिलीवरी सुशांत सिंह राजपूत को हैंडओवर की गई थीं।
चार्जशीट में मार्च 2020 से दिसंबर 2020 के बीच आपराधिक साजिश में शामिल हुए सभी आरोपियों को एक-दूसरे के साथ या समूहों में हाई सोसाइटी और बॉलीवुड के लिए ड्रग्स खरीदने, बेचने और डिस्ट्रीब्यूट करने का दोषी ठहराया गया है। इसमें यह भी कहा है कि आरोपियों ने मुंबई महानगर में ड्रग ट्रैफिकिंग के लिए पैसा दिया है और गांजा, चरस, कोकीन और अन्य नशीले पदार्थों का सेवन भी किया है। इसलिए उन्हें एनडीपीएस एक्ट की धाराओं 27 और 27ए (अवैध यातायात को फाइनेंस करना और अपराधियों को शरण देना), 28 (अपराध करने का प्रयास) और 29 (अपराधिक साजिश के लिए उकसाना) के अंतर्गत आरोप तय किए गए हैं।
चार्जशीट पर अभी कोर्ट में बहस होनी बाकी है। लेकिन इससे पहले कोर्ट को उन याचिकाओं पर सुनवाई करनी होगी, जो आरोपियों ने यह चार्जशीट फाइल होने से पहले उन्हें दोषमुक्त किए जाने के लिए लगाई थीं। बता दें कि 14 जून 2020 को सुशांत सिंह राजपूत के अचानक निधन के बाद इस मामले में पहले प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) और फिर नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) की एंट्री हुई थी। सितम्बर 2020 में एनसीबी ने रिया को गिरफ्तार किया था, जिसके बाद वे लगभग एक महीना जेल में रही थीं। सुशांत की मौत से जुड़ा मामला फिलहाल सीबीआई के पास है।