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जाति जनगणना का मामला कर्नाटक सरकार पर छोड़ दिया गया, मैंने रिपोर्ट नहीं देखी: मल्लिकार्जुन खड़गे

कलबुर्गी, 17 अप्रैल (ऐजेंसी/सक्षम भारत)। कर्नाटक में जाति आधारित जनगणना रिपोर्ट को लेकर तीखी चर्चाएं हो रही हैं। मुख्यमंत्री सिद्दारमैया के नेतृत्व वाली सरकार इस रिपोर्ट पर विचार-विमर्श करने की तैयारी में है। सीएम सिद्दारमैया की अध्यक्षता में गुरुवार को बेंगलुरु में राज्य कैबिनेट की बैठक होने जा रही है, जिसमें इस रिपोर्ट पर विस्तृत चर्चा होगी। इस बीच कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा है कि जाति जनगणना का मामला राज्य सरकार पर छोड़ दिया गया है।

कलबुर्गी में मीडिया से बात करते हुए कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, “जाति जनगणना का मामला राज्य सरकार पर छोड़ दिया गया है। मैंने रिपोर्ट भी नहीं देखी है। देखना यह है कि कैबिनेट में चर्चा के बाद राज्य सरकार क्या फैसला लेती है? यह मुद्दा पूरी तरह से कर्नाटक सरकार पर छोड़ दिया गया है।”

मुख्यमंत्री सिद्दारमैया ने बुधवार को मीडिया से बात करते हुए जाति जनगणना के सवाल पर कहा था कि हमने 17 अप्रैल को एक बैठक बुलाई है और सभी कैबिनेट मंत्री इसमें हिस्सा लेंगे। जाति आधारित जनगणना के विषय पर ही चर्चा होगी। उन्होंने कहा था कि यह जाति जनगणना नहीं, एक सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण है। हम इस पर चर्चा करेंगे और निर्णय लेंगे।

इसके अलावा सीएम ने कलबुर्गी में रोजगार मेले पर कहा था कि “हम रोजगार मेला आयोजित कर रहे हैं। हम पहले ही बेंगलुरु में एक रोजगार मेला आयोजित कर चुके हैं। अब हम कलबुर्गी, मैसूर और हुबली-धारवाड़ में भी मेले का आयोजन कर रहे हैं। हमारा उद्देश्य बेरोजगारी को खत्म करना है। युवाओं को नौकरी मिलनी चाहिए। हम स्नातक होने के बाद नौजवानों को दो साल तक 3,000 रुपये प्रति माह प्रदान कर रहे हैं। हमने युवा निधि योजना लागू की है और युवाओं को रोजगार के अवसर भी प्रदान कर रहे हैं। युवा पीढ़ी के लिए रोजगार सुनिश्चित करना हमारी पार्टी की प्रतिबद्धता है।”

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