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अजीत पवार ने महात्मा फुले, सावित्रीबाई फुले के स्मारकों की विकास योजनाओं की समीक्षा की

पुणे/मुंबई, 09 जनवरी (ऐजेंसी/सक्षम भारत)। महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजीत पवार और खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री छगन भुजबल ने पुणे में क्रांतिसूर्य महात्मा ज्योतिबा फुले और क्रांतिज्योति सावित्रीबाई फुले के निवास स्थान फुलेवाड़ा में राष्ट्रीय स्तर के स्मारक के निर्माण के लिए समीक्षा बैठक के दौरान विकास योजनाएं पेश कीं।
सोमवार रात जारी आधिकारिक प्रेस बयान में कहा गया है कि देश में महिला शिक्षा का अलख जगाकर शिक्षा और सामाजिक सुधार के क्षेत्र में क्रांतिकारी काम करने वाले फुले दंपत्ति जैसे महान लोगों का स्मारक उनके काम के प्रति न्याय होना चाहिए। इसके लिए इस प्रेरक स्मारक को विरासत की स्थिति और आधुनिक वास्तुकला के बेहतरीन मिश्रण के साथ बनाया जाना चाहिए। श्री पवार ने आश्वासन दिया कि स्मारक के काम के लिए धन की कोई कमी नहीं होगी।
मंत्रालय में हुई इस बैठक की अध्यक्षता श्री पवार ने की और खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री छगन भुजबल, मुख्य सचिव डॉ. नितिन करीर समेत तमाम आला अधिकारी मौजूद रहे।
श्री पवार ने कहा कि क्रांति ज्योति सावित्रीबाई फुले ने देश में महिला शिक्षा की शुरुआत की। आज महिलाएं समाज के हर क्षेत्र में आत्मविश्वास के साथ चलती नजर आ रही हैं, इसका पूरा श्रेय क्रांति ज्योति सावित्रीबाई को जाता है। इसलिए सावित्रीबाई के कार्यों, महिलाओं की शिक्षा के लिए उन्होंने जो कठिनाइयां सहन कीं और उनके द्वारा किए गए बलिदान के बारे में जानकारी स्कूल और कॉलेज के छात्रों तक पहुंचनी चाहिए। युवा पीढ़ी को इससे मार्गदर्शन एवं प्रेरणा लेनी चाहिए। इसके लिए प्रस्तावित स्मारकों में फुले दंपत्ति के जीवन कार्यों की जानकारी देने वाला थिएटर, यूपीएससी, एमपीएससी जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए मार्गदर्शन केंद्र, कौशल विकास के लिए प्रशिक्षण केंद्र जैसी सुविधाएं होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि नए स्मारक को पुणे की विरासत वास्तुकला में शामिल किया जाना चाहिए साथ ही सुझाव दिया कि डिजाइन पर आगे काम किया जाना चाहिये।

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