राजनैतिकशिक्षा

बुंदेलखंड के सुधरेंगे दिन

-सिद्धार्थ शंकर-

-: ऐजेंसी सक्षम भारत :-

आम बजट 2022-23 में मध्यप्रदेश को केन-बेतवा लिंक के लिए काफी कुछ मिला है। प्रोजेक्ट पर कुल 44 हजार करोड़ रुपए खर्च होंगे। 1400 करोड़ रुपए दे दिए गए। मध्यप्रदेश और उत्तरप्रदेश के 13 जिलों को इस प्रोजेक्ट से फायदा होगा। कटनी-पन्ना और छतरपुर जिलों में बहने वाली केन नदी 427 किलोमीटर का सफर तय कर उत्तर प्रदेश के बांदा जिले के पास यमुना नदी में गिरती है। रायसेन के पास से निकली बेतवा नदी 576 किलोमीटर का सफर तय करती हुई उत्तर प्रदेश के हमीरपुर के पास यमुना नदी में मिलती है। केन-बेतवा लिंक प्रोजेक्ट के तहत ढोढन (पन्ना) में डैम बनाकर केन के पानी को रोका जाएगा। यहां से 220.624 किमी की नहर बनाकर केन का पानी बरुआसागर (झांसी, यूपी) से निकली बेतवा नदी में छोड़ा जाएगा। इसमें 2 किमी लंबी सुरंग भी बनाई जाएगी। बजट पर देशवासियों से बात करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी कहा कि आम बजट में केन बेतवा लिंक परियोजना में मिलने वाली राशि से मध्य प्रदेश के बुंदेलखंड के खेतों में हरियाली आएगी और पलायन रुकेगा। मोदी ने यह बात बजट को लेकर भाजपा कार्यकर्ताओं को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये अपने संबोधन में केन बेतवा लिंक परियोजना को बुंदेलखंड के लिए महत्वपूर्ण बताया। पीएम मोदी ने कहा कि केन बेतवा लिंक परियोजना मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश के बुंदेलखंड क्षेत्र के लिए बेहद महत्वपूर्ण साबित होगी। उन्होंने कहा कि अभी एमपी-यूपी के लोग काम की तलाश में गुजरात, महाराष्ट्र, तमिलनाडु व केरल तक जाते हैं। मगर केन बेतवा लिंक परियोजना की वजह से अब इन लोगों को पलायन करने की जरूरत नहीं होगी। इस परियोजना से किसानों को भरपूर पानी मिलेगा। इससे किसानों को इधर-उधर भटकने की जरूरत नहीं होगी। उल्लेखनीय है कि आम बजट में केन बेतवा लिंक परियोजना के लिए मध्य प्रदेश को 900 करोड़ रुपए देने का प्रावधान किया गया है तो यूपी को 500 करोड़ मिलेंगे। करीब 42 साल पुरानी केन बेतवा लिंक परियोजना ने अब आकार लेना शुरू किया है। नदी जोड़ो अभियान में यह परियोजना बुंदेलखंड के सूखे की स्थिति को दूर करने में मील का पत्थर साबित हो सकती है। केंद्र सरकार ने नदियों को जोड़ने के लिए नेशनल पर्सपेक्टिव प्लान बनाया था। केन-बेतवा लिंक परियोजना प्लान का पहला प्रोजेक्ट है। केन नदी का पानी बेतवा नदी में ट्रांसफर किया जाएगा। दोनों नदियों को जोड़ने के लिए 220.624 किमी लंबी केन-बेतवा लिंक नहर बनाई जाएगी। मध्यप्रदेश के जिले पन्ना, टीकमगढ़, छतरपुर, सागर, दमोह, दतिया, विदिशा, शिवपुरी, रायसेन और उत्तर प्रदेश के जिले बांदा, महोबा, झांसी, ललितपुर को इससे फायदा होगा। जल शक्ति मंत्रालय के अनुसार, केन-बेतवा लिंक से सालाना 10.62 लाख हेक्टेयर जमीन की सिंचाई हो सकेगी। 62 लाख लोगों को पीने का पानी भी मिलेगा। 103 मेगावाट हाइड्रो पावर और 27 मेगावाट की क्षमता वाला सोलर प्लांट भी बनाया जाएगा। केन-बेतवा लिंक परियोजना में 2 बिजली प्रोजेक्ट भी प्रस्तावित हैं, जिनकी कुल स्थापित क्षमता 72 मेगावॉट है। प्रोजेक्ट के पहले चरण में केन नदी पर ढोडन गांव के पास बांध बनाकर पानी रोका जाएगा। यह पानी नहर के जरिए बेतवा नदी तक पहुंचाया जाएगा। दूसरे चरण में बेतवा नदी पर विदिशा जिले में 4 बांध बनाए जाएंगे। बेतवा की सहायक बीना नदी (सागर) और उर नदी (शिवपुरी) पर भी बांधों का निर्माण किया जाएगा। केन बेतवा लिंक परियोजना से सबसे ज्यादा फायदा बुंदेलखंड क्षेत्र को होगा। सरकार सूखाग्रस्त बुंदेलखंड क्षेत्र में पानी की समस्या दूर करने की योजना बना रही है। बुंदेलखंड क्षेत्र यूपी और मप्र में फैला हुआ है। केन बेतवा इंटरलिंक प्रोजेक्ट की मदद से बुंदेलखंड में सिंचाई, पीने के पानी की कमी दूर हो सकेगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *