भारतीय महिला टीम ने ऑस्ट्रेलिया को 102 रनों से हराया
न्यू चंड़ीगढ़, 18 सितंबर (ऐजेंसी/सक्षम भारत)। भारतीय महिला क्रिकेट टीम ने बुधवार को एक ऐतिहासिक जीत दर्ज करते हुए दूसरे एकदिवसीय मुकाबले में ऑस्ट्रेलिया को 102 रनों के बड़े अंतर से हरा दिया। यह जीत सिर्फ एक मैच की जीत नहीं थी, बल्कि इसने कई रिकॉर्ड तोड़े और ऑस्ट्रेलिया के लगातार 13 वनडे मैचों की जीत के सिलसिले पर भी रोक लगा दी।
बल्लेबाजी और गेंदबाजी का अद्भुत तालमेल
भारत की इस शानदार जीत में सलामी बल्लेबाज स्मृति मंधाना का योगदान सबसे अहम रहा। उन्होंने 117 रनों की शतकीय पारी खेली, जिसने टीम के लिए मजबूत नींव रखी। उनके बाद, दीप्ति शर्मा ने 40 रनों की महत्वपूर्ण पारी खेलकर टीम को 292 के चुनौतीपूर्ण स्कोर तक पहुँचाने में मदद की। भारतीय पारी 49.5 ओवर में 292 रन पर ऑलआउट हुई।
293 रनों के लक्ष्य का पीछा करने उतरी ऑस्ट्रेलिया की शुरुआत बेहद खराब रही। टीम ने सिर्फ 12 रन पर अपने दो विकेट खो दिए। भारत की गेंदबाजों ने अपनी सटीक लाइन और लेंथ से ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को खुलकर खेलने का मौका नहीं दिया। रेणुका सिंह ने जॉर्जिया वॉल को और क्रांति गौड़ ने कप्तान एलिसा हीली को जल्दी ही पवेलियन भेजा। इसके बाद, ऑस्ट्रेलिया की पारी संभल नहीं पाई और पूरी टीम 40.5 ओवर में 190 रन पर ढेर हो गई। भारतीय गेंदबाजों में स्नेह राणा, राधा यादव, अरुंधति रेड्डी, और दीप्ति शर्मा ने नियमित अंतराल पर विकेट लेकर ऑस्ट्रेलिया को बड़े स्कोर की तरफ बढ़ने से रोका। क्रांति गौड़ ने आखिरी विकेट लेकर भारत को 102 रनों की बड़ी जीत दिलाई।
ऐतिहासिक जीत और टूटे रिकॉर्ड
यह जीत भारतीय महिला क्रिकेट के लिए कई मायनों में ऐतिहासिक रही। हरमनप्रीत कौर की अगुवाई वाली भारतीय टीम वनडे में रनों के अंतर से ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सबसे बड़ी जीत दर्ज करने वाली पहली टीम बन गई है। भारत ने इंग्लैंड का 52 साल पुराना रिकॉर्ड भी ध्वस्त कर दिया। इस जीत के साथ ही, ऑस्ट्रेलिया के लगातार 13 वनडे मैच जीतने का सिलसिला भी रुक गया। इसके अलावा, भारतीय टीम ने 18 साल बाद घरेलू मैदान पर ऑस्ट्रेलिया को वनडे मैच में हराया है। इससे पहले, भारत ने फरवरी 2007 में चेपॉक स्टेडियम में ऑस्ट्रेलिया को मात दी थी। 2017 विश्व कप के सेमीफाइनल के बाद, यह केवल दूसरी बार है जब भारतीय टीम ने ऑस्ट्रेलिया को हराया है।
स्मृति मंधाना का शानदार शतक
स्मृति मंधाना ने अपनी शतकीय पारी से जीत में अहम भूमिका निभाई। यह उनके करियर का 12वां वनडे और 15वां अंतरराष्ट्रीय शतक था। मंधाना के 12 वनडे शतकों में से 10 में भारतीय टीम को जीत मिली है, जो उनकी मैच जिताऊ क्षमता को दर्शाता है। इससे पहले, 2016 और 2024 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ उनके दो शतक के बावजूद भारत को हार का सामना करना पड़ा था, लेकिन इस बार उनका प्रदर्शन टीम के लिए निर्णायक साबित हुआ।